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कुमार सानू: कैसे बने 'किंग ऑफ मेलोडी' और गिनीज रिकॉर्ड धारक?

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कुमार सानू का संगीत सफर

मुंबई, 19 अक्टूबर। कुमार सानू, जिनका असली नाम केदारनाथ भट्टाचार्य है, ने नब्बे के दशक में बॉलीवुड में रोमांस को एक नई पहचान दी। 20 अक्टूबर 1957 को कोलकाता में जन्मे सानू की मखमली आवाज ने लाखों दिलों को छू लिया और भारतीय संगीत को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया।


फिल्म 'आशिकी' (1990) के गाने जैसे 'दिल का आलम' और 'नजर के सामने' ने उन्हें रातोंरात प्रसिद्धि दिलाई। यह एल्बम आज भी संगीत प्रेमियों के लिए एक मील का पत्थर है। उनकी आवाज में ऐसा जादू था, जो रोमांटिक, दर्द भरे और उत्साही गीतों को एक नया रंग देता था। यही कारण है कि उन्हें 'किंग ऑफ मेलोडी' और 'रोमांस किंग' जैसे खिताब मिले।


कुमार सानू की गायकी की विशेषता उनकी बहुआयामी प्रतिभा रही है। उन्होंने 20,000 से अधिक गाने रिकॉर्ड किए, जो हिंदी के साथ-साथ बंगाली, मराठी, तमिल, तेलुगु और अन्य भारतीय भाषाओं में हैं। चाहे 'चोरी चोरी जब नजरे मिली' (करीब) का रोमांटिक अंदाज हो, 'लड़की बड़ी अनजानी है' (कुछ कुछ होता है) की मासूमियत, या 'ये काली काली आंखें' (बाजीगर) की ऊर्जा, सानू ने हर शैली में अपनी छाप छोड़ी।


उनका सबसे बड़ा रिकॉर्ड लगातार पांच वर्षों (1990-1994) तक बेस्ट मेल सिंगर का फिल्मफेयर पुरस्कार जीतना है। 2009 में भारत सरकार ने उनके योगदान के लिए उन्हें पद्मश्री से सम्मानित किया, जो उनकी कला के प्रति समर्पण का प्रतीक है।


कुमार सानू के नाम एक और अनोखा रिकॉर्ड है। उन्होंने एक दिन में 28 गाने रिकॉर्ड करके गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड में अपना नाम दर्ज कराया।


1993 में, कुमार सानू अपने करियर के चरम पर थे। वह एक साथ कई फिल्मों के लिए गाने गा रहे थे। उनकी रिकॉर्डिंग डेट्स पाने के लिए संगीत निर्देशकों और निर्माताओं के बीच प्रतिस्पर्धा थी। इसी बीच, उन्हें 40 दिनों के अंतर्राष्ट्रीय टूर पर जाना था, जो एक बड़ी चिंता का विषय था।


गायक के विदेश जाने की खबर से स्टूडियो में हलचल मच गई। कई फिल्मों का काम रुकने का खतरा था। हर निर्माता चाहता था कि उनके जाने से पहले उनकी फिल्म के ट्रैक रिकॉर्ड हो जाएं।


रिकॉर्ड बनाने की कोई पूर्व योजना नहीं थी, यह एक संयोग था। कुमार सानू ने निर्माताओं के लिए एक असाधारण कदम उठाया। उन्होंने तय किया कि वह अपने टूर पर जाने से पहले एक ही दिन में जितने भी गाने संभव हो सकें, रिकॉर्ड करेंगे।


रिकॉर्डिंग सुबह शुरू हुई और देर रात तक चली। एक ट्रैक खत्म होते ही, वह अगले गाने पर काम करने लगते थे। उनकी रफ्तार और अद्भुत 'वन-टेक' परफॉर्मेंस ने सभी को चकित कर दिया। जब उस दिन की रिकॉर्डिंग का हिसाब लगाया गया, तो सभी दंग रह गए। कुमार सानू ने 24 घंटे से भी कम समय में 28 गाने रिकॉर्ड किए।


इस अद्भुत उपलब्धि को तुरंत मान्यता मिली। 1993 में, कुमार सानू को 'एक दिन में सबसे अधिक गाने रिकॉर्ड करने वाले गायक' के रूप में गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में शामिल किया गया। यह रिकॉर्ड आज भी उनके नाम पर कायम है। यह किस्सा उनकी गायन क्षमता का प्रमाण नहीं है, बल्कि उनके समर्पण और काम के प्रति जुनून को भी दर्शाता है।


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